रायसेन के पठारी में फिर देखा गया बाघ
क्षेत्र में बना हुआ दहशत का माहौल
वही सोशल मीडिया के माध्यम से प्राप्त हो रहा डीएफओ का गैर जिम्मेदार रवैया
रायसेन. जानकारी के अनुसार जिला मुख्यालय के करीब पठारी क्षेत्र के पास एक बार फिर बाघ दिखाई दिया ग्रामीणो के द्वारा वीडियो बनाया गया और फिर कर दिया गया वायरल, वीडियो वायरल होते ही पठारी क्षेत्र में दहशत फैल गई है हर एक रेहवासी को अपना और अपने पशुओं की जान खतरा महसूस होने लगा। वहीं सूत्रों के अनुसार वन विभाग के डीएफओ की मनमानी एवं लापरवाही मानी जा रही है इस सिलसिले में संभागीय अधिकारी सीसीएफ राजेश खरे से खबर खालसा के प्रबंध संपादक सरदार आर.एस.सिंह खालसा ने पठारी क्षेत्र में दहशत एवं डीएफओ की लापरवाही होने के विषय में मोबाइल फोन पर चर्चा की तब सीसीएफ राजेश खरे ने बाघ को लगातार देखा जाना तो स्वीकार है
लेकिन उन्होंने डीएफओ की लापरवाही या गैर जिम्मेदार होना कतई नहीं स्वीकार उन्होंने जानकारी देते हुए बताया इसी बाघ के द्वारा तेंदूपत्ता तोड़ने गए एक व्यक्ति का शिकार किया गया था उसका आधा हिस्सा बाघ द्वारा खा लिया जाना की खबर पर प्रकाश डाला उन्होंने कहा बाघ कभी भी आदमी का शिकार नहीं करता है और ना ही उसका गोश्त खाता है वह तो खुद इंसान से डरता है। यह बात अलग है बाघ ने जंगल में तेंदू पत्ता तोड़ने गए व्यक्ति पर जो हमला किया था इसका कारण उन्हेंने जानकारी में बताया बाघ कहीं झाड़ियां में बैठा हुआ था
अचानक उस व्यक्ति को देख कर हमला कर दिया और भाग गया उसके शरीर को खा जाने की बात सत्य बताई उन्होंने कहा हमारी टीम बराबर बाघ पर नजर बनाए हुए हैं उस क्षेत्र में डेढ़ सौ कैमरे लगाए गए हैं बाघ इतना शातिर है वह किसी एक स्थान पर दोबारा नहीं देखा जा रहा है जब उसे देखे गए स्थान पर ढूंढा जाता है तो वह अगले स्थान पर कही चला जाता है हमारी टीम के द्वारा जगह-जगह पिंजरे भी लगाये जा रहे हैं पिंजौरो में बाघ को खाने के लिए शिकार भी जिंदा बांधा जाता है उसे आज नहीं तो कल पकड़ लिया जाएगा बाघ को पड़कर पहले वन विहार लाया जाएगा उसका मेडिकल कराने के पश्चात ही उचित निर्णय लिया जाएगा कि इस बाघ को कहां भेजना है।
उन्होंने क्षेत्र के ग्रामीण वासियों से अपील की है वह हौसला रखें बाघ से बिल्कुल ना घबराए बात तो खुद इंसान से डरता है पिछली घटना जो घटी थी इसका कारण भी डर ही था ।
इनका कहना हैं …..
हमारे द्वारा बाघ को पकड़ने के लिए कार्रवाई की जा रही है जंगल क्षेत्र में डेढ़ सौ कमरे भी लगे हुए हैं बाघ इतना शातिर है वह बार-बार अपनी मूवमेंट बदलता रहता है हमारे द्वारा जंगल में पिंजरे भी लगाए जा रहे हैं बाघ के लिए जिंदा शिकार भी माना जाता है आज नहीं तो कल हम उसे पकड़ ही लेंगे ग्रामीणों को घबराने की आवश्यकता नहीं है बाघ तो खुद इंसान से डरता है हमला उस स्थिति में बाघ कर देता हैं जब अचानक कोई सामने आ जाए वह डर जाता है।
भोपाल सीसीएफ राजेश खरे