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वन भूमि पर अतिक्रमणकारीयों ने महिलाओं, बच्चों को आगे कर बनाया दबाव

कुछ छुटभईये नेता हड़पना चाहते हैं वन विभाग की भूमि को

मंडीदीप. औद्योगिक क्षेत्र मंडीदीप स्थित भोजमपुरा चिकलोद रेंज की भोजपुर बीट में वन विभाग की भूमि पर बड़े पैमाने में अतिक्रमण किया जा चुका है जिसे हटा कर भूमि को आजाद करने का मन वन मंडल अधिकारी हेमंत रैकवार ने बना लिया है भोजमपुरा भोजपुर बीट में कुछ छूटभैईये नेताओं और वन कर्मियों की मिली भगत से वन विभाग की भूमि पर अतिक्रमण हो गया एवं उक्त भूमि पर कच्चे और पक्के मकान बड़े पैमाने पर बना दिए गए।

समाचार पत्रों में प्रकाशित हुई वन भूमि पर अतिक्रमण की खबर को लेकर अब्दुल्लागंज वन मंडल अधिकारी हेमंत रैकवार तक उक्त भूमि पर अतिक्रमण की जानकारी पहुंचते ही उन्होंने तत्काल कार्रवाई के आदेश जारी कर दिए, इस वन विभाग की भूमि पर इतने बड़े अतिक्रमण की वजह सिर्फ उनके विभाग के कुछ गद्दार कर्मचारी हैं जिन्होंने अपने निजी स्वार्थ के चलते अपने ही विभाग को सेंध लगाने का मन बना लिया है वन कर्मचारी के द्वारा इसकी जानकारी अगर वन मंडल अधिकारी हेमंत रैकवार को पूर्व में दे दी गई होती तो शायद वह अभी तक इस वन भूमि को अतिक्रमणकारियों से आजाद करा चुके होते चाहे वह किसी भी नेता का संरक्षण रहा होता ।

इस आतिक्रमण की जानकारी मिलते ही उन्होंने आनन- फानन में अपने अधीनस्थ सभी अधिकारी कर्मचारीयों को अतिक्रमण हटाने के लिए आदेश दे दिए उनके द्वारा भेजी गई टीम के साथ जेसीबी मशीन भोजमपुरा वन भूमि पर अतिक्रमण हटाने के लिए पहुंचीं तभी अतिक्रमणकारियों ने चालाकी दिखाते हुए उन्होंने अपनी-अपनी पत्नियों एवं बच्चों को भेजी गई टीम के सामने खड़ा कर दिया स्थिति लड़ाई झगड़ा फंसाद जैसी अतिक्रमणकारियों द्वारा बना दी गई, जिसमें वन मंडल अधिकारी हेमंत रैकवार ने बड़ी ही सूझबूझ से स्थिति को समझते हुए अतिक्रमणकारियों को एक बार चेतावनी और समझाई दी उन्होंने कहां जल्द से जल्द वन भूमि को वह खाली कर दें।

इस वन भूमि विवाद को लेकर राजधानी के समाज सेवी खोजी पत्रकार सरदार आर. एस.सिंह खालसा ने अतिक्रमण को हटाने की कार्रवाई स्थगित क्यों करनी पड़ी इसके बारे में जब पूछा तो उन्होंने जानकारी देते हुए बताया कि हमारे पास वन कर्मचारी की टीम बहुत कम थी हमारे साथ पुलिस और प्रशासन का कोई अमला नहीं था इसलिए स्थिति शांत बनी रहे किसी भी प्रकार का फसाद ना हो इसलिए हमें यह कार्यवाही स्थापित करनी पड़ी इसका मतलब यह बिल्कुल नहीं है कि हम इस वन भूमि को आजाद नहीं करेंगे अब मेरा अगला स्टेप होगा कलेक्टर रायसेन, नगर निगम प्रशासन रायसेन, पुलिस अधीक्षक रायसेन से इस विषय में चर्चा की जाएगी और पूरे दलबल के साथ वन विभाग की इस भूमि को अतिक्रमणकारियों से आजाद करने में हम कोई कसर नहीं छोड़ेंगे। अतिक्रमणकारिर्यों को संरक्षण देने वाले उन छोटे-मोटे नेताओं के बारे में पूछा तो उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा वह नेता चाहे जो भी हो वह अपना काम करें हम अपना काम करेंगे वन विभाग की इस भूमि को अतिक्रमणकारियों को संरक्षण देने वाले एवं विभागीय कार्यवाही में रुकावट करने वाले किसी भी नेता को हम बर्दाश्त नहीं करेंगे यह वन विभाग की भूमि है और इसे आजाद करना हमारी जिम्मेदारी हैं ।

इनका कहना हैं….
मुझे जैसे ही इस वन भूमि पर अतिक्रमण की जानकारी प्राप्त हुई मैंने तुरंत कार्रवाई के आदेश कर दी मुझे जानकारी विभाग के कर्मचारियों द्वारा पूर्व में दे दी गई होती तो मैं बहुत पहले ही इस पर एक्शन ले लेता वर्तमान में जो डिप्टी रेंजर दोषी पाया गया है मैंने उसे तत्काल निलंबित कर दिया और जितने भी इस प्रकरण की जांच में दोषी पाए जाएंगे उन पर कठोर विभागीय कार्रवाई करूंगा किसी को बक्सा नहीं जाएगा जो भी नेता इसमें हास्थछैप करेंगे उनकी हमारी कार्यवाही पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा हम चाहेंगे तो विभागीय कार्यवाही में विवाद उत्पन्न करने का मुकदमा भी दर्ज कर सकते हैं हां ठीक है जो भी नेता हों वह अपनी नेतागिरी करें हम अपना काम करेंगे।

हेमंत रैकवार
वन मंडल अधिकारी अब्दुल्लागंज जिला रायसेन

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