इमरान खान का साथ छोड़ने वाले नेताओं ने बनाई नई पार्टी, नाम रखा इस्तेहकाम-ए-पाकिस्तान
लाहौर: पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को एक और झटका देते हुए उनकी पार्टी छोड़ने वाले अनेक असंतुष्ट नेताओं ने अक्टूबर में संभावित आम चुनाव लड़ने के लिए बृहस्पतिवार को एक नये राजनीतिक दल का गठन किया जिसे सेना द्वारा समर्थित माना जा रहा है। चीनी कारोबारी और इमरान खान के पुराने मित्र जहांगीर खान तरीन उन नेताओं की अगुवाई कर रहे हैं जिन्होंने पिछले महीने सैन्य प्रतिष्ठानों पर हमलों के मद्देनजर इमरान खान की पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) पार्टी छोड़ दी थी। उन्होंने लाहौर में एक संवाददाता सम्मेलन में ‘इस्तेहकाम-ए-पाकिस्तान पार्टी’ (आईपीपी) के गठन की घोषणा की।
अलीम खान, इमरान इस्माइल और पीटीआई के अन्य पूर्व नेताओं की मौजूदगी में तरीन ने कहा, ”हम नये राजनीतिक दल ‘इस्तेहकाम-ए-पाकिस्तान पार्टी’ की बुनियाद रख रहे हैं।” साल 2018 में इमरान खान की सरकार बनाने में अहम भूमिका निभाने वाले तरीन ने कहा कि वह देश की बेहतरी के लिए राजनीति में आये थे। जब पीटीआई नीत सरकार में तरीन के खिलाफ धनशोधन का एक मामला दर्ज किया गया तो उन्होंने अपने रास्ते अलग कर लिये।तरीन ने कहा कि देश को ऐसे राजनीतिक नेतृत्व की जरूरत है जो सामाजिक, आर्थिक और अन्य सभी मुद्दों को सुलझा सके। उन्होंने यह भी कहा कि नौ मई की हिंसा के दोषियों को न्याय के कठघरे में लाया जाना चाहिए, अन्यथा भविष्य में राजनीतिक विरोधियों के घरों पर हमले किये जाएंगे। नई पार्टी के गठन की आधिकारिक घोषणा से पहले फवाद चौधरी, इमरान इस्माइल, अली जैदी और अन्य समेत खान के कई पूर्व सहयोगियों की तरीन से मुलाकात की खबर है।
पीटीआई की पूर्व नेता फिरदौस आशिक अवान ने बृहस्पतिवार को ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा कि आज खान और उनकी पार्टी जिस तरह के हालात का सामना कर रहे हैं, उसके लिए वह खुद जिम्मेदार हैं। उन्होंने कहा, ”हम नये मंच के तहत मुख्यधाराओं के दलों पीएमएलएन और पीपीपी के खिलाफ सियासत करेंगे क्योंकि पीटीआई अतीत की बात हो गयी है।” गत नौ मई की हिंसा के मद्देनजर पीटीआई छोड़ने वाले कुछ नेताओं ने पहले राजनीति से ‘अस्थायी विश्राम’ की घोषणा की थी। हालांकि, कुछ सप्ताह बाद ही वे नये राजनीतिक खेमे से जुड़ गये।